Saturday, February 19, 2011

लखनऊ की यात्रा 
१. भूल भुलैया
२. चिड़िया घर 
३. रेजीडेंसी ०९-०२-२०११
४.सहारागंज (सहरमोल )
५.आंबेडकर पार्क 
६.फन रेपुब्लीक मोल
७.रेवेर्स साइड मोल   
८.नारी नाट्यकला  केन्द्रीय ०९-०२-२०११
९.हाईकोर्ट 
१०.सिरडी के साईं बाबा  
भूल भुलैया
१. भूल भुलैया- सबसे ख़ास बात यह था की अगर दुश्मन मेनगेट पर है तो भूल भुलैया में एक ऐसा स्था हा जो वह के लोग दूर से देखकर वह से वार कर सकते है और दुश्मन देख भी नहीं  पायेगा  
२.वहापर एक कुआं है जो की खजाने की चाभी उसी में गिरी हुई है आज तक कोई पता नहीं लगा पाया है
३.भूल भुलैया में जितने भी खिड़की है और दरवाजे है सब एक जैसा ही बने हुए है उसमे जाने का एक ही दरवाजा है और आने का भी उसी रास्ते से आते है लेकिन फिर भी लोग भूल जाते है  
खुबसूरत गार्डेन विदेशी पर्यटक भी यहाँ आते
४. इस में सुरंग भी बने हुए है जो की चारों दिशायों की तरफ जाने रास्ता था लेकिन अब बंद हो चूका है
५. मकबरा भी बना हुआ है और भूल भुलैया में कोई माची का तीली जलने पर उसमे से माचिस के तीली के जलने की आवाज स्पस्ट सुनाई देती है !
२. चिड़िया घर-
1 चिड़िया घर में मेनगेट पर प्रवेश करते ही वहा पर स्क्रीन पर उसके अन्दर कौन कौन से जानवर, पशु पक्षी है slide के माध्यम से दीखाया गया है फिर आगे जैसे जैसे जायेंगे वैसे वैसे आपको सभी जानवर देखने को मिलेंगे गोष्ठीयों में एकजुट बैठे मिलेंगे कई रंग के चिड़िया जो आप कभी देखें नहीं होंगे तोता की अनेक किस्में को भी देखने क मिलेंगी 
शेर ,चीता, तेंदुआ, सफ़ेद शेर, भालू, चिम्पैंजी , गैंडा , दरियाई घोडा, जीरफ मगरमक्ष घड़ियाल आदि अक्नेक जानवर देखने को मिलते है 
२. सांप में जहरीले सांप अजगर कोबरा आदि देखने को मिलेंगे 
३. कौन सा जानवर को कितना  भोजन लिमिट में देना चाहिए सब कुछ लिखा हुआ मिलेगा 
४. सबसे बड़ी बात तो यह है की उसमे ट्रेन की सुविधा भी है बच्चों को बैठकर कर उस ट्रेन के माद्यम से सब जानवरों  को देखना आदि


    

Updesh Manjari


उपदेश मंजरी
दुःख तो इस बात का है हरीश  इस संसार में भक्त कहलाने वाले लोग तो बहुत है, लेकिन दुसरे का दर्द नहीं समझते है! दुकान पर बैठ गए है, तो ठगने से पीछे नहीं हटेगे, अगर ज्ञानी है, तो ज्ञान से ठग रहे है, धनी है तो अपने धन के माध्यम से ठग रहे है! यदि उचे पद पर बैठे हुए है, तो अपने रौब से ठग रहें है, किसी न किसी तरह से यह ठगी, निर्दयिता चल रही है! मंदिर में जाते है, तो माथा झुकाने में पीछे नहीं, लेकिन ठगने में भी पीछे नहीं! संतों ने इसलिए तो कहा है हरीश अगर तू भक्त बनता है, तो पूरा भक्त बन और ठग भी बनता है, तो पूरा ठग तो बन, दुनिया को अत तो लगे, की तू आदमी ठग है, तू दूसरों का मुखौटा क्यों पहनता  है!
Harish

Monday, February 14, 2011

Kabhi to Subah Hoga


वो सुबह कभी तो आयेगी,
इन कली सदियों के सर से,
जब रात का आँचल ढलेगा,
जब अम्बर झूम के नाचेगा,
जब धरती नभ में गाएगी,
वो सुबह कभितो आयेगी,
Harish 

Wednesday, February 9, 2011

Tips Shayari

जीभ में लगा घाव तो पुज जाता है 
लेकिन जीभ से लगा घाव कभी भी नहीं पुजता है 
चल गया तो पैसा ही पैसा 
अगर नहीं चला तो पहले जैसा

Wednesday, February 2, 2011

हरीश
प्यार का तौफा दोस्त करना प्रेम कबूल
याद रखना इस २०११ को कभी ना जाना भूल
 जिंदिगी तनहा 
दिन गुजरता नहीं है लोगों में 
रात होती नहीं हा बस तनहा 
हमने दरवाजे तक तो देखा था 
फिर ना जाने कोई किधर तनहा 
काफिला साथ और सफ़र तनहा 
जिन्दगी हुई बसर तनहा

हरीश विश्वकर्मा